इन नए व्यावसायिक स्कूलों में प्रत्येक व्यावसायिक व्यापार में कम से कम 40 छात्रों के प्रवेश की मंजूरी दी गई है। इस योजना का उद्देश्य छात्रों के बीच व्यावसायिक ज्ञान और व्यावसायिक स्किल के अवसरों को बढ़ाने का है। मुख्य रूप से गुजराती माध्यम को राष्ट्रीय शिक्षा नीति (एनईपी) 2020 के तहत भारत सरकार की समग्र शिक्षा द्वारा अनुमोदित किया गया है।
शिक्षा मंत्री जीतू वघानी ने घोषणा करते हुए बताया कि 13 नए व्यावसायिक व्यवसायों स्कुलों में कृषि, परिधान, मेड अप और घरेलू सामान, मोटर वाहन, ब्यूटी एंड वैलनेस , बीएफएसआई, इलेक्ट्रॉनिक्स, खाद्य प्रसंस्करण, आईटी(आईटीईएस), प्लंबर, रिटेल, खेल, शारीरिक शिक्षा, फिटनेस और अवकाश, पर्यटन और आतिथ्य और स्वास्थ्य देखभाल की जानकारी दी जाएगी।
इन नए व्यावसायिक स्कूलों में प्रत्येक व्यावसायिक व्यापार में कम से कम 40 छात्रों के प्रवेश की मंजूरी दी गई है, जिसमें हर वर्ग के व्यावसायिक व्यापार की जानकारी छात्र ले सकेगें।
एनईपी 2020 के तहत दो साल के को बदल कर चार साल के पैटर्न कर दिया गया जिसमें (कक्षा 9 से 12 तक) के छात्र को शिक्षा मिल सकेगी। 33 जिलों और निगमों में इन नए स्कूलों को मंजूरी दी गई है।
अधिकारियों ने बताया किया कि वर्तमान में शिक्षकों की काउंसलिंग के बाद माता-पिता और छात्रों की काउंसलिंग चल रही है और उन्हें व्यावसायिक स्किल के लाभ समझाया जा रहा है। एक शिक्षा अधिकारी ने कहा, "एक बार काउंसलिंग और प्रशिक्षण पूरा हो जाने के बाद, ये स्कूल सितंबर में प्रवेश लेना शुरू कर देंगे।" इनके लिए पाठ्यक्रम, पाठ्यपुस्तकें और प्रशिक्षण मॉड्यूल पंडित सुंदरलाल शर्मा केंद्रीय व्यावसायिक शिक्षा संस्थान, भोपाल द्वारा तैयार किया गया है।
छात्र अपना स्वतंत्र व्यवसाय उस विषय में शुरू कर सकेगे जिसमें सरकार द्वारा तय किए गए विषयों में रुचि रखते हैं। थ्योरी की क्लास शिक्षा की तुलना में व्यावहारिक कार्य, कार्यशाला, गतिविधि कार्य, प्रशिक्षण पर अधिक ध्यान दिया जाएगा। व्यावसायिक शिक्षा प्राप्त करने के बाद योजना के तहत 12वीं पास करने वालों को कारखाने, उद्योग संस्थानों में व्यावसायिक प्रशिक्षण प्राप्त करना होगा। जिसमें छात्रों को अभ्यास होगा कार्य की।
वही उत्तर प्रदेश में भी स्किल के लिए योजना बनाई गई है। 'प्रोजेक्ट प्रवीण' को तत्काल प्रभाव से लागू किया जाएगा और इसका उद्देश्य संपूर्ण शैक्षिक पाठ्यक्रम को एक समग्र, उत्तरदायी और उत्पादक प्रवर्तक के रूप में फिर से तैयार करना है। छात्रों को नौकरियों के लिए आवश्यक स्किल से लैस करने के उद्देश्य से, उत्तर प्रदेश सरकार 'प्रोजेक्ट प्रवीण' के तहत वर्तमान शैक्षणिक सत्र में राज्य के उच्च माध्यमिक विद्यालयों में पढ़ने वाले कक्षा 9 से 12 के 21,000 से अधिक छात्रों को स्किल प्रशिक्षण प्रदान करेगी।
विभाग ने उत्तर प्रदेश के प्रत्येक जिले से दो (1 उच्चतर माध्यमिक बालक विद्यालय और 1 उच्चतर माध्यमिक बालिका विद्यालय) कुल 150 विद्यालयों का चयन किया है। छात्रों को स्किलिंग मैकेनिज्म चुनने का विकल्प दिया जाएगा।