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- केंद्र और राज्य सरकारें पूर्वोत्तर में एमएसएमई को दे रहीं बढ़ावा
पूर्वोत्तर राज्यों के लघु एवं मध्यम उद्यम को सशक्त बनाने और आत्मनिर्भर निधि (एसआरआई कोष) के अंतर्गत लाभों का उपयोग करके अपने व्यवसायों को बढ़ाने के उद्देश्य से बिजएम्प नाम का कार्यक्रम आयोजित किया। इस कार्यक्रम में पूर्वोत्तर क्षेत्र के एमएसएमई डॉटर फंड और अन्य उच्चाधिकारी ने भाग लिया।
पूर्वोत्तर राज्यों के उद्योग सचिवों की उपस्थिति के साथ राज्य और केंद्र सरकार के ठोस प्रयासों को दिखाया गया, जिन्होंने एमएसएमई के विकास में सहायता के लिए बनाई गई विभिन्न नीतियों के बारे में बताया।
एमएसएमई मंत्रालय के सचिव बीबी स्वैन ने मंत्रालय और एनएसआईसी वेंचर कैपिटल फंड (एनवीसीएफएल) के सभी अधिकारियों को बधाई देते हुए कहा कि पूर्वोत्तर क्षेत्र में एमएसएमई को बढ़ावा देने के लिए राज्य और केंद्र सरकार के संयुक्त प्रयास, विकास के लिए नए रास्ते खोलेंगे, स्टार्टअप और उद्यमों को बढ़ावा देंगे, राज्य की एमएसएमई क्लस्टर को नई ऊंचाई पर ले कर जाएंगे। उन्होंने आत्मनिर्भर निधि (एसआरआई फंड) से अधिकतम लाभ लेने और जितना संभव हो सकें उतने डॉटर फंड के साथ बातचीत करने का आग्रह किया।
मदर फंड और डॉटर फंड क्या है
डॉटर फंड – वेंचर कैपिटलिस्ट के साथ मिलकर बनाए गए नए फंड को डॉटर फंड कहते है। मदर फंड विकास पूंजी के रूप में आगे के निवेश के लिए केवल डॉटर फंड को धन उपलब्ध कराएगा, जबकि एमएसएमई में निवेश फंड के तहत डॉटर फंड द्वारा किया जाएगा। मदर एंड डॉटर फंड दोनों को सेबी के साथ वैकल्पिक निवेश फंड के रूप में विधिवत पंजीकृत किया जाएगा।
सूक्ष्म , लघु एवं मध्यमम उद्यम मंत्रालय के सचिव बी.बी स्वैलन ने दीमापुर, नागालैंड में अपने आत्मषनिर्भर निधि (एसआरआई) कोष के अंतर्गत एनएसआईसी वैंचर कैपिटल फंड लिमिटेड (एनवीसीएफएल) के सहयोग से एमएसएमई मंत्रालय द्वारा आयोजित कार्यक्रम को बीजएम्प की अध्यएक्षता में किया।
एनवीसीएफएल के एसआरआई कोष के माध्यम से पूंजीगत लाभ को बढ़ाने पर केंद्रित है। इसने भारत के पूर्वोत्तर क्षेत्र में एमएसएमई तक पहुंचने के लिए एसआरआई कोष के लिए पैनल में शामिल डॉटर फंड के लिए मंच प्रदान करने का काम किया है।
हमारी अर्थव्यवस्था पर एमएसएमई के प्रभाव को देखते हुए यह आवश्यक है कि युवाओं के बीच उद्यमिता को प्रोत्साहित करने और इकोसिस्टम बनाने के लिए केंद्रित प्रयास किए जाएं, जहां वे पांच ट्रिलियन डॉलर अर्थव्यवस्था को साकार बनाने के लिए भारतीय अर्थव्यवस्था के विकास में अभिन्न भूमिका निभा सकें।
एमएसएमई मंत्रालय निरंतर रूप से सतत विकास के लिए एमएसएमई को सशक्त बनाने और वैश्विक मूल्य श्रृंखला में उपयुक्त बनने के लिए काम कर रहा है। इससे पूर्वोत्तर क्षेत्र में एमएसएमई को वेंचर कैपिटल फंड (डॉटर फंड) से बातचीत करने और व्यवसाय को बढ़ाने के लिए पूंजी निवेश के माध्यम से लाभ प्राप्त करने में सहायता मिलेगी।