व्यवसाय विचार

तिरुपुर व कोयंबटूर के एमएसएमई क्षेत्र में होगा 12 हजार करोड़ का निवेश

Opportunity India Desk
Opportunity India Desk Nov 03, 2023 - 2 min read
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दोनों जिलों में एमएसएमई क्षेत्र से प्रत्येक में 6,000 करोड़ रुपये के निवेश का लक्ष्य है। कोयंबटूर जिले में, 191 इकाइयां लगभग 6,100 करोड़ रूपये का निवेश करेंगी। यह निवेश इलेक्ट्रिक वाहनों, ऑटोमोबाइल कंपोनेंट, रक्षा और एयरो स्पेस सहित उभरते क्षेत्रों की एक श्रृंखला में होगा।

कोयंबटूर और तिरुपुर जिलों में सूक्ष्म, लघु और मध्यम स्तर के उद्यम (एमएसएमई) क्षेत्र ने अगले साल जनवरी में चेन्नई में होने वाली ग्लोबल इन्वेस्टर्स मीट (जीआईएम) के लिए निवेश लक्ष्य को पार किया है।

दोनों जिलों में एमएसएमई क्षेत्र से प्रत्येक में 6,000 करोड़ रुपये के निवेश का लक्ष्य है। कोयंबटूर जिले में, 191 इकाइयां लगभग 6,100 करोड़ रूपये का निवेश करेगी, जिससे 19,100 नई नौकरियां पैदा होगी।यह निवेश इलेक्ट्रिक वाहनों, ऑटोमोबाइल कंपोनेंट, रक्षा और एयरो स्पेस सहित उभरते क्षेत्रों की एक श्रृंखला में होगा। 

तीन औद्योगिक पार्क जल्द ही शुरू होंगे और एमएसएमई इकाइयां इन पार्कों में से प्रत्येक में दो करोड़ रूपये से 150 करोड़ रूपये का निवेश करेंगी। कोयंबटूर जिला लघु उद्योग संघ के प्रेसिडेंट वी. तिरुगननम ने कहा कि जब उद्योगों ने ग्लोबल इन्वेस्टर्स मीट में एमओयू पर हस्ताक्षर किए, तो उन्हें अनिवार्य मंजूरी आसानी से मिल जाएगी। अभी मंदी है, लेकिन हमें उम्मीद है कि स्थिति में सुधार होगा और निवेश की योजना बनेगी। उन्होंने कहा जीआईएम में इन निवेशों के लिए एमओयू पर हस्ताक्षर करके, हम बिना किसी देरी के आवश्यक मंजूरी प्राप्त कर सकते हैं।

तिरुपुर जिले में 270 एमएसएमई 7,666 करोड़ रुपये का निवेश करेगे और 14,650 लोगों के लिए रोजगार पैदा करेगे। प्रत्येक इकाई 80 लाख से 50 करोड़ रुपये का निवेश कर रही है और यह मौजूदा सुविधाओं के विस्तार, नवीकरणीय ऊर्जा क्षमताओं को बढ़ाने या नए उद्योग स्थापित करने के लिए है। निवेश कई क्षेत्रों में होगा - तेल मिल, चावल मिल, नवीकरणीय ऊर्जा, स्वास्थ्य सेवा, कॉयर, प्लास्टिक, भोजन और वस्त्र।

तिरुपुर एक्सपोर्टर्स एंड मैन्युफैक्चरर्स एसोसिएशन के प्रेसिडेंट एम.पी. मुथुराथिनम ने कहा  तिरुपुर में एमएसएमई क्षेत्र की लगभग 70 प्रतिशत परिधान इकाइयां तनाव में हैं और मुश्किल से कोई ऑर्डर मिल रहा है। बड़े पैमाने के क्षेत्र की बहुत सारी इकाइयाँ दूसरे राज्यों में स्थानांतरित हो रही हैं। बांग्लादेश से भारी आयात और वैश्विक भू-राजनीतिक स्थिति के कारण हम अभूतपूर्व संकट का सामना कर रहे हैं। उन्होंने कहा तिरुपुर जिले में निवेश की योजना कपड़ों के अलावा अन्य क्षेत्रों में भी हो सकती है।

तिरुपुर में प्रमुख घरेलू कपड़ा निर्माताओं में से एक ने कहा कि कपड़ा उद्योग में एक साल से अधिक समय से मंदी के कारण तिरुपुर में कपड़ा इकाइयों को वैकल्पिक फाइबर पर विचार करने के लिए मजबूर होना पड़ रहा है। हालाँकि, वे अभी भी संभावनाओं और जोखिमों का अध्ययन कर रहे थे और नए निवेश के लिए तैयार नहीं थे। इसलिए, जिले में प्रमुख कपड़ा और परिधान निवेश तुरंत नहीं हो सकता है।

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