भारतीय शिक्षा प्रणाली ने धीरे-धीरे सीखने के अपने पांच चरणों में एक नया प्रवेशकर्ता स्वीकार कर लिया है। पिछले कुछ दशकों में भारतीय शिक्षा प्रणाली बहुत विकसित हुई है। वर्तमान में, 95 प्रतिशत से अधिक बच्चे प्राथमिक विद्यालय में जाते हैं। हालांकि, इनमें से केवल 40 प्रतिशत माध्यमिक विद्यालय (कक्षा 9-12) में भाग लेने में सक्षम हैं।
एक स्टार्टअप डेटा ट्रैकर ‘Trackxn’ की बनाई हुई रिपोर्ट के अनुसार, 2006 से लेकर अब तक एडटेक में $9.86 बिलियन (लगभग 67,496 करोड़ रुपए) निवेश किए जा चुके हैं।
निजी स्कूलों की आसमान को छू लेने वाली फीस पालकों की जेब में सुराख बना रही है। इसके बावजूद पालक सरकार द्वारा संचालित स्कूलों के मुकाबले निजी स्कूल की शिक्षा पसंद करते हैं।
शिक्षा क्षेत्र में व्यवसाय करने वालों के लिए यह अच्छी बात है कि उच्च गुणवत्ता के निजी स्कूलों के लिए मांग बढ़ती जा रही है, लेकिन यह भी समझ लेना जरूरी है कि भारत में स्कूल शुरु करने की प्रक्रिया ‘दो दूनी चार’ जितनी आसान नहीं है...
वित्तीय वर्ष 2024-25 के केंद्रीय बजट में एमएसएमई के लिए प्रौद्योगिकी सहायता, वित्तीय सहायता और नियामकीय सुधारों के लिए कई घोषणाएं की गई हैं। इनमें मुद्रा ऋण सीमा को ₹10 लाख से बढ़ाकर ₹20 लाख करना, एमएसएमई ऋण के लिए नए मूल्यांकन मॉडल, और सिडबी शाखाओं के माध्यम से क्लस्टर आधारित विकास योजनाओं को बढ़ावा देना शामिल है।
बैंक, NBFCs और नए फंडिंग मॉडल इलेक्ट्रिक वाहन उद्योग को वित्तीय सहायता देकर हरित भविष्य की ओर बढ़ा रहे हैं। उनका सहयोग न केवल स्टार्टअप्स और निर्माताओं की चुनौतियां हल कर रहा है, बल्कि भारत के शून्य-उत्सर्जन लक्ष्यों को भी साकार कर रहा है।
ओला इलेक्ट्रिक ने रोडस्टर X सीरीज लॉन्च की, जिसमें पांच वेरिएंट शामिल हैं, जिनकी कीमत ₹74,999 से ₹1,54,999 तक है। इस सीरीज का टॉप मॉडल 9.1kWh बैटरी के साथ 501 किमी की रेंज प्रदान करता है।
बजाज ऑटो इस वित्तीय वर्ष के अंत तक ई-रिक्शा बाजार में कदम रखने की तैयारी में है।कंपनी अपने नए ‘35 प्लेटफॉर्म’ के साथ चेतक ईवी की बाजार हिस्सेदारी बढ़ाने और लाभप्रदता हासिल करने पर भी ध्यान केंद्रित कर रही है।
केपीआईटी टेक्नोलॉजीज ने अपनी सोडियम-आयन बैटरी तकनीक ट्रेंटार एनर्जी को सौंपी, जो भारत में 3GWh बैटरी उत्पादन करेगी। यह बैटरी सस्ती, तेज चार्जिंग वाली और लिथियम का बेहतर विकल्प होगी।
मॉन्ट्रा इलेक्ट्रिक ने चेन्नई के पोन्नेरी में अपने नए इलेक्ट्रिक स्मॉल कमर्शियल व्हीकल (e-SCV) मैन्युफैक्चरिंग प्लांट का उद्घाटन किया। यह प्लांट सालाना 50,000 वाहन बनाने की क्षमता रखता है और भारत में ईवी इकोसिस्टम को मजबूत करने में योगदान देगा।
अशोक लीलैंड ने विजयवाड़ा के पास 75 एकड़ में फैले नए बस निर्माण संयंत्र का उद्घाटन किया, जिसकी वार्षिक उत्पादन क्षमता 4,800 बसों की होगी। इस संयंत्र से आंध्र प्रदेश में रोजगार बढ़ेगा और ग्रीन टेक्नोलॉजी को बढ़ावा मिलेगा।
कंपनी अपनी उत्पादन क्षमता को 1GWh से 6GWh तक बढ़ाने के लिए अत्याधुनिक तकनीकों को अपनाने जा रही है। यह विस्तार आत्मनिर्भर भारत पहल के तहत इलेक्ट्रिक वाहनों और रिन्यूएबल एनर्जी स्टोरेज को बढ़ावा देगा।
काज़म और युमा एनर्जी ने साझेदारी कर देशभर में ईवी बैटरी स्वैपिंग सुविधा को मजबूत करने का फैसला लिया है। यह पहल डिलीवरी और लॉजिस्टिक्स सेक्टर के ईवी ड्राइवरों को मिनटों में बैटरी बदलने की सुविधा देगी।
ओबेन इलेक्ट्रिक ने अपने रिटेल नेटवर्क का तेजी से विस्तार करते हुए एक ही दिन में 15 नए शोरूम और सर्विस सेंटर शुरू किए हैं। कंपनी ने चार नए राज्यों में प्रवेश कर ईवी बाजार में अपनी पकड़ और मजबूत की है।
राज्य सरकार ने हिमाचल को 2026 तक हरित ऊर्जा राज्य बनाने का लक्ष्य रखा है, जिसके लिए हिमाचल को ई-वाहनों का मॉडल राज्य बनाने पर काम हो रहा है। यह पहल कार्बन उत्सर्जन को कम करने और भावी पीढ़ियों के लिए सतत पर्यावरण को बढ़ावा देने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाएगी।